नई दिल्ली: बॉलीवुड अभिनेत्री जैकलीन फर्नांडीज अब सुप्रीम कोर्ट तक अपना कानूनी संघर्ष ले गई हैं, जिसमें उन्होंने कथित ठग सुकेश चंद्रशेखर से जुड़े 215 करोड़ रुपये के मनी लॉन्ड्रिंग मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ED) से राहत मांगी है।
न्यायमूर्ति दीपांकर दत्ता और ऑगस्टीन जॉर्ज मसिह की पीठ 22 सितंबर को उनकी याचिका पर सुनवाई करेगी। यह मामला भारत की सबसे ध्यान से देखी जाने वाली वित्तीय अपराध जांचों में से एक बन चुका है।
पृष्ठभूमि
यह मामला 3 जुलाई तक वापस जाता है, जब दिल्ली हाईकोर्ट ने फर्नांडीज की ED की कार्यवाही रद्द करने की याचिका खारिज कर दी थी। अभिनेत्री ने ED की सूचना रिपोर्ट (ECIR) और अतिरिक्त चार्जशीट को चुनौती दी थी, यह दावा करते हुए कि वे सुकेश चंद्रशेखर द्वारा रचित एक संगठित योजना की शिकार हैं।
ED के अनुसार, फर्नांडीज ने चंद्रशेखर से गहने, महंगे कपड़े और वाहन सहित लगभग 7 करोड़ रुपये के उपहार प्राप्त किए। हालांकि, फर्नांडीज लगातार अपनी निर्दोषता का दावा कर रही हैं और कहती हैं कि उन्हें चंद्रशेखर के आपराधिक इतिहास की जानकारी नहीं थी।
दिल्ली हाईकोर्ट में न्यायमूर्ति अनीश दयाल ने स्पष्ट किया कि:
"क्या आरोपी ने वास्तव में अपराध किया है, यह केवल ट्रायल कोर्ट द्वारा तय किया जा सकता है।"
अदालत ने यह भी देखा कि आरोपों की गंभीरता के बावजूद, मामले को शुरुआती चरण में रद्द करना उचित नहीं है। ED ने यह भी कहा कि फर्नांडीज ने चंद्रशेखर की गिरफ्तारी के बाद अपने मोबाइल से डेटा डिलीट किया और वित्तीय लेन-देन का विवरण छिपाया।
हाईकोर्ट ने इन दावों की सच्चाई पर कोई निर्णय नहीं दिया, यह जोर देते हुए कि प्रक्रिया और ट्रायल के नियमों का पालन होना चाहिए।
अब सुप्रीम कोर्ट में उनकी याचिका की सुनवाई होने जा रही है। यह मामला सेलिब्रिटी जिम्मेदारी, वित्तीय अपराध जांच और न्यायिक हस्तक्षेप के संतुलन को फिर से उजागर करेगा। फर्नांडीज की कानूनी टीम यह दलील पेश करेगी कि उनके खिलाफ पर्याप्त सबूत नहीं हैं और वे केवल चंद्रशेखर की योजना का शिकार हुई हैं।
22 सितंबर को सुप्रीम कोर्ट का निर्णय तय करेगा कि फर्नांडीज की ED केस को रद्द करने की याचिका स्वीकार की जाएगी या मामला ट्रायल कोर्ट में जारी रहेगा।
केस का शीर्षक:- जैकलीन फर्नांडीज बनाम प्रवर्तन निदेशालय
केस नं.:- SLP (CRL.) no. 14759/2025